दुनिया में उथल-पुथल के पीछे अमेरिका का हाथ है
हालांकि रूस-यूक्रेन संकट की स्थिति अभी तक स्पष्ट नहीं है, लेकिन इस संकट से वैश्विक स्थिति में बड़ा बदलाव हुआ है। यह कोई गुप्त बात नहीं है कि दुनिया में उथल-पुथल के पीछे अमेरिका है, क्योंकि विश्व में मौजूद अनेकानेक संकटों व मुठभेड़ों के पीछे अमेरिका की छाया देखी जा सकती है।
अमेरिका का लगातार युद्ध छेड़ने और विदेशों में युद्ध निर्यात करने का इतिहास रहा है। इतिहास में अमेरिका ने कई बार विदेशों के प्रति युद्ध की घोषणा की है, यह अमेरिका के बड़े देश बनने के रास्ते पर मील का पत्थर जैसा है। वर्ष 1846 में हुए मैक्सिकन-अमेरिकी युद्ध, वर्ष 1898 में हुए स्पेन-अमेरिकी युद्ध, और दो विश्व युद्धों से अमेरिका ने अपने आधिपत्य का रास्ता तैयार किया। जब विभिन्न देश युद्ध से पीड़ित हैं, तो अमेरिका युद्ध से पैसा कमाने की मज़ा ले रहा है।
अमेरिका की अनूठी भौगोलिक परिस्थितियों के कारण दो विश्व युद्धों का विनाश अमेरिका की भूमि में नहीं फैला। साथ ही, अमेरिका की शक्तिशाली सैन्य व प्रतिरक्षा की क्षमता के कारण अमेरिकी समाज की अनूठी सुरक्षा अवधारणा भी बनाया गया है। यानी उथल-पुथल हमेशा दूसरे देशों में पैदा हुआ है, पर अमेरिका हमेशा सुरक्षित है।
लेकिन “9/11” दुर्घटना ने अमेरिका के सपने को तोड़ दिया। वास्तव में “9/11” दुर्घटना तो अमेरिका द्वारा अन्य देशों में युद्ध के निर्यात की एक सज़ा ही है। पर अमेरिका अपनी कार्रवाई पर विचार करने के बजाए आतंकवाद का विरोध करने की आड़ में लगातार अपने आधिपत्य का विस्तार करता है, जिससे विश्व में ज्यादा गंभीर उथल-पुथल पैदा हो रहा है।
चंद्रिमा