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यूक्रेन संकट को दूर करने के लिए वार्ता जरूरत है

criPublished: 2022-02-22 19:58:10
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स्थानीय समयानुसार 21 फरवरी को पूर्वी यूक्रेन की परिस्थिति में भारी परिवर्तन आया है। उस दिन रूस ने पूर्वी यूक्रेन के डोनेट्स्क और लुहांस्क को स्वतंत्र व संप्रभु राज्यों की मान्यता दी। फिर अमेरिका ने रूस के खिलाफ वित्तीय पाबंदी लगाने का एलान किया। कई पश्चिमी देश भी पाबंदी लगाने में शामिल हुए हैं। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने यूक्रेन समस्या पर आयोजित एक आपात बैठक पर चीन ने विभिन्न पक्षों से संयम बरतने की अपील की।

यूक्रेन की परिस्थिति इसलिए हालिया स्थिति में विकसित हुई, जिसके पीछे अति जटिल कारण हैं। इनमें अमेरिका ने प्रमुख भूमिका अदा की है। हाल में वाशिंगटन निरंतर यह खबर फैला रहा है कि रूस यूक्रेन पर आक्रमण करेगा। अमेरिका इस से घरेलू विरोधाभास को मिटाकर समर्थन दर को उन्नत करने और भू-राजनीति से यूरोप को नियंत्रित करने की कुचेष्टा की। अमेरिका की इस कार्रवाई ने यूक्रेन की परिस्थिति को और तीव्र बनाया है।

यूक्रेन संकट को दूर करने के लिए सबसे अच्छा उपाय संबंधित पक्षों को बैठकर वार्ता करनी चाहिए। सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य होने के नाते यूक्रेन समस्या पर चीन का रुख हमेशा रहा है। यानी किसी भी देश के उचित सुरक्षा ख्याल का सम्मान किया जाना चाहिए और संयुक्त राष्ट्र संघ के चार्टर और सिद्धांतों की रक्षा की जानी चाहिए।

अब यूक्रेन में परिस्थिति बिगड़ती जा रही है। संबंधित पक्षों को संयम बरतकर परिस्थिति के और गंभीर होने से बचाना चाहिए। अमेरिका समेत बाहरी शक्तियों को शांति वार्ता करने की सलाह देनी चाहिए, न कि आतंकी माहौल बनाने पर जोर देना चाहिए। विश्व को बेहतर बनाने के लिए बड़े देशों को सर्वप्रथम मिसाल देनी चाहिए।

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